भोपाल। शिवराज सरकार के कार्यकाल में नर्मदा नदी के किनारे अभियान चलाकर सवा छह करोड़ पौधे लगाने का दावा किया गया था। साथ ही नर्मदा को स्वच्छ बनाने और उसमें मिलने वाले नालों को बंद करने भाजपा सरकार ने कार्ययोजना भी तैयार की थी। उसके पहले नमामि नर्मदे नाम से अभियान भी चलाया गया। इसी बीच पिछले साल पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने भी मां नर्मदा की पैदल परिक्रमा की थी और उन्होंने दावा किया था कि सरकार द्वारा लगाए गए पौधे उन्हें नजर नहीं आए। अब सरकार बदली और नई सरकार के वन मंत्री उमंग सिंघार ने वन विभाग से नर्मदा किनारे लगाए गए पौधों का रिकार्ड तलब केया है। वन मंत्री ने नर्मदा किनारे के 24 जिलों में किए गए पौधारोपण समेत तेंदूपत्ता संग्राहकों को दिए गए जूते, चप्पल और साड़ियों की जिलेवार जानकारी देने के निर्देश दिए हैं। गुरुवार को सिंघार ने विभागीय समीक्षा के दौरान कहा कि जिलों में केवल उत्तम परफार्मेंस के आधार पर ही अधिकारियों की मैदानी पोस्टिंग करें और अधिकारी द्वारा किए जा रहे कार्यों की हर सप्ताह रिपोर्ट प्रस्तुत करें। उन्होंने कहा कि तेंदूपत्ता संग्राहकों को भविष्य में नगद भुगतान करें। खातों में पैसा जाने से उनको परेशानी होती है। उन्होंने कहा कि पौधों की मॉनीटरिंग तकनीकी रूप से उपलब्ध हाईटेक साधनों से करें। वन मंत्री ने वनों के वैज्ञानिक प्रबंधन, वन विदोहन, निस्तार, प्रदाय, अनुसंधान एवं विस्तार, वन आवरण, वन क्षेत्र, वृक्षारोपण, वन संरक्षण, वन्य-प्राणी प्रबंधन आदि की गतिविधियों की गहन समीक्षा की।